JIOMART ने Amazon और Flipkart का किया पीछे. लोगो को घर घर पहुँचा रहा हैं ज़्यादा डिस्काउंट पर समान

JIOMART ने Amazon और Flipkart का किया पीछे. लोगो को घर घर पहुँचा रहा हैं ज़्यादा डिस्काउंट पर समान

2020 में रिलायंस ने जियोमार्ट (JioMart) लॉन्च किया. इस ग्रोसरी ऑर्डर करने वाले ऐप ने मात्र 2 वर्षों में ही ऑनलाइन बाजार में अपनी पकड़ मजबूत कर ली है.

जियोमार्ट की मौजूदगी ई-कॉमर्स दिग्गज अमेज़न और फ्लिपकार्ट (वालमार्ट) के लिए खतरे की घंटी है. फिलहाल, बेशक भारत के ई-कॉमर्स मार्केट में इनसे बड़ा कोई प्लेयर नहीं है, लेकिन जियोमार्ट की रणनीति कुछ ऐसी है कि इन दोनों को चिंतित होने की जरूरत है.

रिलायंस के ई-कॉमर्स में उतरने के पीछे वह आंकड़े हैं, जो बताते हैं कि अगले 4 वर्षों में भारत का ई-कॉमर्स सेक्टर 200 बिलियन डॉलर का हो जाएगा. ग्लोबल फर्म मॉर्गन स्टेनली का अनुमान है कि 2026 में भारत की यह महत्वपूर्ण इंडस्ट्री 200 बिलियन डॉलर तक पहुंच जाएगी. मतलब साफ है कि ऑनलाइन बाजार पर देश के लोगों का भरोसा बढ़ा है और ज्यादा से ज्यादा लोग इसे अपना रहे हैं और अपनाते रहेंगे.

कैसे अलग है JIOMART

जब देश लॉकडाउन में था, उसी दौरान रिलायंस ने जियोमार्ट लॉन्च किया था. धीरे-धीरे अपने ई-कॉमर्स पोर्टल को बढ़ाया. अब यह एक पूरा ई-कॉमर्स पोर्टल बन चुका है, जिस पर घरेलू सामान से लेकर फैशन और इलेक्ट्रॉनिक्स तक सब सामान मौजूद है.

फ्लिपकार्ट और अमेज़न दोनों थर्ड पार्टी वेंडर्स पर निर्भर हैं. मतलब विक्रेता इन प्लेटफॉर्म से बिलकुल अलग हैं. अगर बात करें जियोमार्ट की तो इस पर ज्यादातर उत्पाद रिलायंस के अपने ब्रांड्स के हैं. दावा है कि पूरे भारत में मौजूद 15,000 रिलायंस रिटेल स्टोर्स से माल लोगों के घरों तक पहुंचाया जाता है.

ऑफलाइन-ऑनलाइन हाइब्रिड ई-कॉमर्स मॉडल

JioMart को अपने ऑफलाइन-ऑनलाइन हाइब्रिड ई-कॉमर्स मॉडल के साथ हाल ही में सफलता पाई है. कंपनी ने पहली बार अपने प्लेटफॉर्म पर 23 सितंबर से दिवाली सेल का आयोजन किया और देखा कि सप्ताह के दौरान बिक्री 2.5 गुना बढ़ गई. हालांकि JioMart की बाजार हिस्सेदारी बहुत कम रही, लेकिन यह शुरुआत कंपनी की जड़ें जमाने में कारगर रही. सितंबर के पहले सप्ताह में फ्लिपकार्ट और अमेज़ॅन के स्थापित प्लेटफार्मों ने 88 फीसदी की बाजार हिस्सेदारी पाई थी.

अगली सेल होगी धमाकेदार

रेस्ट ऑफ वर्ल्ड की एक रिपोर्ट के मुताबिक, रेडसीर के मार्केट रिसर्चर संजय कोठारी ने कहा, “स्वीकार्यता और उपयोग के दृष्टिकोण से, भारतीय ग्राहकों ने JioMart का स्वागत किया.” उन्होंने आगे कहा, “इस साल, JioMart को एक अच्छे आधार वाले मंच के रूप में स्थापित करने और उस संदेश को अपने उपयोगकर्ताओं को स्पष्ट रूप से पहुंचाने पर ध्यान दिया गया. जब अगला त्योहार (सेल) आएगा, तो वे इस क्षेत्र के बड़े खिलाड़ियों में से एक बनने के लिए अच्छी स्थिति में होंगे.”

Amazon रहा संघर्षरत, JIOMART बढ़ा

2 साल की छोटी-सी अवधि में ही JioMart ने ग्रोसरी कैटेगरी में अपने पीयर्स को पीछे छोड़ दिया है. आज, JioMart भारत के 260 शहरों और कस्बों में प्रति दिन 600,000 डिलीवरी करता है. यह पूर्ति रिलायंस के अपने रिटेल स्टोर्स और पास-पड़ोस के मॉम-एंड-पॉप आउटलेट्स, जिन्हें किराना कहा जाता है, के माध्यम से कराई गई. किराना स्टोर्स ने 2020 में कुल उपभोक्ता खरीदा का 88 प्रतिशत हिस्सा सप्लाई किया.

रिलायंस किराना स्टोर्स को डिजिटाइज़ करने के लिए पॉइंट-ऑफ-सेल (पीओएस) मशीनें किराए पर देता रहा है. रिसर्च फर्म बर्नस्टीन (Bernstein) ने 30 अगस्त के एक नोट में JioMart की कॉमर्स पोर्टल भारत सफलता को स्वीकार किया. इस फर्म ने अपने नोट में लिखा- जहां Amazon ने अपना प्रभुत्व बनाए रखने के लिए संघर्ष किया, वहीं रिलायंस ने ऑनलाइन किराना श्रेणी में अग्रणी बनने के लिए अपने ई-कॉमर्स ऑपरेशन्स को बढ़ाया.

विक्रेताओं को भारत ई-मार्केट से जोड़ने के लिए कैट ने शुरू किया मोबाइल एप

भारत ई-मार्केट मोबाइल एप

व्यापारी संगठन कैट ने अपने आगामी ई-कॉमर्स पोर्टल ‘भारत ई-मार्केट’ से विक्रेताओं को जोड़ने के लिए बृहस्पतिवार को मोबाइल एप की शुरुआत की है। इसके जरिए कारोबारी एवं सेवा प्रदाता पोर्टल पर पंजीकरण पर अपनी ई-दुकान शुरू कर सकते हैं।

कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) ने कहा कि स्वदेसी भारत ई-मार्केट पोर्टल देश के सभी नियमों का पालन करेगा। पोर्टल में कोई विदेशी निवेश स्वीकार्य नहीं होगा और उपयोगकर्ताओं के आंकड़े पूरी तरह से देश में ही रहेंगे।

संगठन महासचिव प्रवीण खंडेलवाल ने कहा कि विदेशी ई-कॉमर्स कंपनियां देश के नियम एवं कानूनों का उल्लंघन कर ई-कॉमर्स बाजार को खराब कर रही हैं। इसके मद्देनजर व्यापारियों कॉमर्स पोर्टल भारत और ग्राहकों को ध्यान में रखकर तैयार ई-कॉमर्स पोर्टल जरूरी था। इस साल दिसंबर तक सात लाख और और दिसंबर, 2023 तक एक करोड़ कारोबारियों को पोर्टल से जोड़ने का लक्ष्य है।

व्यापारी संगठन कैट ने अपने आगामी ई-कॉमर्स पोर्टल ‘भारत ई-मार्केट’ से विक्रेताओं को जोड़ने के लिए बृहस्पतिवार को मोबाइल एप की शुरुआत की है। इसके जरिए कारोबारी एवं सेवा प्रदाता पोर्टल पर पंजीकरण पर अपनी ई-दुकान शुरू कर सकते हैं।

कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) ने कहा कि स्वदेसी भारत ई-मार्केट पोर्टल देश के सभी नियमों का पालन करेगा। पोर्टल में कोई विदेशी निवेश स्वीकार्य नहीं होगा और उपयोगकर्ताओं के आंकड़े पूरी तरह से देश में ही रहेंगे।

संगठन महासचिव प्रवीण खंडेलवाल ने कहा कि विदेशी ई-कॉमर्स कंपनियां देश के नियम एवं कानूनों का उल्लंघन कर ई-कॉमर्स बाजार को खराब कर रही हैं। इसके मद्देनजर व्यापारियों और ग्राहकों को ध्यान में रखकर तैयार ई-कॉमर्स पोर्टल जरूरी था। इस साल दिसंबर तक सात लाख और और दिसंबर, 2023 तक एक करोड़ कारोबारियों को पोर्टल से जोड़ने का लक्ष्य है।

What is Apna Bazar?

यह अपना बाजार ऑनलाइन ई कॉमर्स पोर्टल का रोजगार एवं प्रशिक्षण पोर्टल है। इस पोर्टल के माध्यम से योग्य व्यक्तियों द्धारा अपना बाजार में जारी की गयी विज्ञप्ति में रिक्त पदों के लिए आवेदन किया जा सकता है। इस पोर्टल पर विस्तार से आवेदन करना का तरीका, रिक्त पदों की सूची, ऑनलाइन परीक्षा सिलेबस, परीक्षा पद्धति, चयन का तरीका एवं परीक्षा परिणाम जारी करने का तरीका इत्यादि के बारें में जानकारी दी गयी है।

अपना बाजार ऑनलाइन ई कॉमर्स पोर्टल की शुरुआत वर्ष 2009 में की गयी थी। यह भारतीय पशुपालन निगम लिमिटेड के स्वामित्व का पोर्टल है एवं निगम के माध्यम से ही इसका संचालन किया जाता है। यह पोर्टल ग्राहकों, उपभोक्ताओं एवं वस्तु निर्माताओं, थोक व्यापारी और फुटकर विक्रेता को आसानी से जोड़ने का कार्य करता है। इस पोर्टल के माध्यम से वस्तु निर्माता, थोक व्यापारी और फुटकर विक्रेता अपनी सभी वस्तुओं को ऑनलाइन माध्यम के द्धारा ग्राहकों, उपभोक्ताओं तक आसानी से विक्रय कर सकते हैं। अपना बाजार का उद्देश्य भारतीय ऑनलाइन बाजार में विदेशी कम्पनियों का एकाधिकार समाप्त कर स्वदेशी ई कॉमर्स पोर्टल अपना बाजार के माध्यम से देश के प्रत्येक राज्य एवं गांव के उपभोक्ताओं एवं ग्राहकों तक उच्च गुणवत्ता एवं वास्तविक मूल्य की वस्तुओं को पहुँचाना है।

हमारा मिशन "अपना भारत,अपना बाजार" : भारतीय ऑनलाइन बाजार में विदेशी कंपनियों कॉमर्स पोर्टल भारत का एकाधिकार दूर कर, स्वदेशी भारतीय ऑनलाइन पोर्टल अपना बाजार को देश के प्रत्येक राज्य एवं गांव में पहुंचाने हेतु "अपना भारत,अपना बाजार" मिशन की शुरुआत की गई है। इस मिशन के तहत भारतीय ऑनलाइन बाजार को आत्मनिर्भर बनाने, ऑनलाइन व्यापार को बढ़ावा देने, ऑनलाइन बाजार को नियमितता प्रदान करने, उपभोक्ताओं एवं ग्राहकों तक उच्च गुणवत्ता एवं वास्तविक मूल्य की वस्तुओं को पहुँचाने एवं भारतीय मुद्रा को भारत के विकास कार्यों तक पहुंचाने इत्यादि उद्देश्यों को प्राथमिकता दी गयी है। आगामी समय में देश के प्रत्येक शहर एवं कस्बों में अपना बाजार रिटेल चेन भी शुरू की जाएगी।

ई-कॉमर्स

E-Comm

इंटरनेट और उसके बाद के ई-कॉमर्स बूम ने संगठनों और लोगों के लिए एक व्यापक पहुंच बनाने के लिए एक नई दुनिया खोल दी। पूरे देश और दुनिया भर में आदिवासी उत्पादों की उपलब्धता का विस्तार करने और जनजातीय लोगों के लिए अधिक लाभ प्राप्त करने के लिए,TRIFED अपने पोर्टल www.tribesindia.com के साथ ऑनलाइन गया।

इस नए चैनल का उपयोग इस तरह से किया जा रहा है कि सिर्फ एक क्लिक में, दस्तकारी, आदिवासी उत्पादों को एक बड़ा दर्शक मिल जाता है - न केवल भारत में बल्कि विदेशों में भी।

विचारशील और दस्तकारी उत्पादों की एक विस्तृत श्रृंखला जो अपनी समृद्ध प्राचीन सांस्कृतिक विरासत की अमिट छाप ले जाती है, खरीददारों को उपलब्ध कराई जाती है, विपणन की जाती है और उपलब्ध कराई जाती है।

वास्तविक कला प्रेमियों, सहस्राब्दी फैशनवादियों और जातीय लोक तक व्यापक पहुंच सुनिश्चित करने के लिए, TRIBES India अपने TRIBES India मोबाइल ऐप और अपने स्वयं के ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म अर्थात के माध्यम से अपनी उपस्थिति महसूस कर रहा है। www.tribesindia.com .

आगे की बिक्री बढ़ाना करने के लिए, ट्राइफेड की तरह अन्य ऑनलाइन विपणन दिग्गजों के साथ व्यवस्था की है Snapdeal, Amazon, Paytm, Flipkart और GeM अपने सभी उत्पादों की बिक्री के लिए।

इन ई-कॉमर्स व्यवस्थाओं का उद्देश्य कलाप्रेमियों को अपने घरों में बैठकर भारत के विभिन्न जनजातियों द्वारा बनाए गए उत्पादों को खरीदकर अपने खरीदारी के अनुभव को आसान बनाना है। इसके अलावा, अपने दरवाजे के चरणों में कला प्रेमियों के लिए वास्तविक और प्रामाणिक आदिवासी उत्पादों को सुनिश्चित करना, ऑनलाइन पोर्टल भी जनजातीय उत्पादों के लिए एक ब्रांड के रूप में ट्राइब्स इंडिया को बढ़ावा देते हैं।

ई कॉमर्स कंपनियों को टक्कर देने के लिए कैट 11 मार्च को लॉन्च करेगा Bharat E Market मोबाइल ऐप

भारत ई मार्केट (BharatEMarket)

कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (The Confederation of All India Traders-CAIT) अपने वेन्डर मोबाइल एप्लीकेशन (Mobile App) को लॉन्च करने जा रहा है. भारत ई मार्केट (BharatEMarket) पूर्ण रूप से एक क्रांतिकारी फिजिटल मॉडल है, जिसमं ऑफलाइन रिटेल और अधुनिक डिजिटल टेक्नोलॉजी का बेहतरीन संयोजन है, जो कि पूरी तरह व्यापारियों का, व्यापारियों द्वारा और व्यापारियों और उपभोक्ताओं के लिए ही बनाया गया है. कैट के अनुसार विदेशी ई पोर्टल के कथित अवैध और अनैतिक आचरण और उनके खिलाफ ईडी (प्रवर्तन निदेशालय) और कम्पटीशन कॉमिशन ऑफ इंडिया की चल रही जांच के मद्देनजर यह फैसला लिया गया है. दरअसल कैट भारत का सबसे बड़ी व्यापारिक संगठन है, जो 40 हजार से अधिक व्यापारिक एसोसिएशनों के माध्यम से 8 करोड़ व्यापारियों का प्रतिनिधित्व करता है.

कैट कॉमर्स पोर्टल भारत ने कहा है कि उसके पोर्टल (Portal) की उपभोक्ता ऑनबोर्डिग एप्लिकेशन को भी जल्द ही लॉन्च किया जाएगा. कैट के राष्ट्रीय महामंत्री प्रवीण खंडेलवाल (Praveen Khandelwal) ने कहा कि कि भारत ई मार्केट जो विशुद्ध रूप से 'भारतीय' है और ये स्वदेशी पोर्टल विदेशी बहुराष्ट्रीय दिग्गजों के साथ नैतिक रूप से प्रतिस्पर्धा करने के लिए भारत के 8 व्यापारियों (Traders) को समान स्तर का प्लेटफार्म प्रदान करेगा. भारत ई मार्केट एक अनूठा ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म है जहां व्यापारियों को अब अपने पुराने स्थापित ग्राहकों को डिजिटल रूप से कॉमर्स पोर्टल भारत कॉमर्स पोर्टल भारत सेवा करने का अवसर मिलेगा, जिनके साथ वे वर्षो से व्यापार कर रहे हैं.

भारत ई मार्केट (BharatEMarket) का लक्ष्य 31 दिसंबर, 2021 तक कम से कम सात लाख विक्रेताओं को ऑन बोर्ड करना और 31 दिसंबर, 2023 तक एक करोड़ विक्रेताओं को जोड़ कर चीन के अलीबाबा को पछाड़कर इसे दुनिया का सबसे बड़ा बाजार बनाना है, जिसमें लगभग 80 लाख विक्रेता मौजूद हैं. (इनपुट आईएएनएस)

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